विवेक का संकट किसे कहते है ? What is Crisis Of Conscience in Hindi ? vivek ka sankat kya hai

Crisis Of Conscience UPSC Hindi | vivek ka sankat kya hai

vivek ka sankat kya hai
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मान लो आप एक ईमानदार और झूठ न बोलने वाले इंसान हो और आप किसी दुकान पर खड़े हो । तभी वहां पर एक बच्चा आता है जो उम्र में छोटा है और गरीब तथा भूख से परेशान भी है। वह बच्चा दुकान से बिस्किट का पैकेट चोरी करता है। केवल आप ही उस बच्चों को चोरी करते हुए देख रहे हो।

आपके मन में आता है कि मैं इसकी चोरी के विषय में दुकानदार को बता देता हूँ परंतु तभी आप सोचते हैं कि इससे दुकानदार इस बच्चे की पिटाई तो करेगा ही साथ ही साथ इससे बिस्किट भी छीन लेगा । जिससे हो सकते हैं कि पता नहीं और कितने समय तक इसको भोजन प्राप्त न हो और इसे भूखा ही रहना पड़े ।

वही आपके मन में यह भी चल रहा होता है कि यदि मैं इस बच्चे की चोरी के विषय में दुकानदार को नहीं बताता तो इसकी चोरी में प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष तौर पर मैं भी भागीदार बन जाऊंगा और हो सकता है कि बच्चा आगे जाकर ऐसे ही चोरी करने लगे हैं।

इस प्रकार आप यहां पर कोई भी ठोस निर्णय लेने के लिए सक्षम नहीं हो पा रहे हो इसी अवस्था को विवेक का संकट कहते हैं ।

जब हमारी अंतरात्मा दो परस्पर विरोधी मूल्य या विकल्पों में से किसी एक विकल्प के प्रति ठोस निर्णय न दे सके । इस स्थिति को विवेक का संकट कहते हैं।

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